आजमगढ़ दिनांक 27 दिसम्बर, 2025 से 24 जनवरी, 2026 तक संचालित किया जाएगा
मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ. एन. आर. वर्मा ने जानकारी देते हुए बताया कि विटामिन ‘ए’ सम्पूरण कार्यक्रम के अंतर्गत जनपद में 09 माह से 05 वर्ष तक के कुल 5,64,627 लक्षित बच्चों को निःशुल्क विटामिन ‘ए’ का घोल पिलाया जाएगा। यह घोल नियमित टीकाकरण (आरआई) सत्रों के दौरान एएनएम द्वारा बच्चों को पिलाया जाएगा। कार्यक्रम के अंतर्गत विटामिन ‘ए’ की खुराक प्रत्येक 06माह के अंतराल पर दी जाती है।
डॉ. वर्मा ने बताया कि विटामिन ‘ए’ की कमी से बच्चों में रतौंधी, अंधापन, रोग प्रतिरोधक क्षमता में कमी, बार-बार डायरिया एवं संक्रमण की समस्या उत्पन्न होती है, साथ ही खसरा जैसी गंभीर बीमारियों की संभावना भी बढ़ जाती है। इसके अतिरिक्त विटामिन ‘ए’ बच्चों की हड्डियों, त्वचा एवं संपूर्ण शारीरिक विकास के लिए अत्यंत आवश्यक है। इसकी कमी से बच्चों का शारीरिक विकास रुक जाता है तथा कुपोषण की आशंका बढ़ जाती है।
अपर मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ. ए. अजीज ने बताया कि विटामिन ‘ए’ का सबसे महत्वपूर्ण प्राकृतिक स्रोत माँ का दूध है। इसके अतिरिक्त गाजर, केला, अंडा, पपीता, पालक, आम आदि खाद्य पदार्थों में भी विटामिन ‘ए’ पर्याप्त मात्रा में पाया जाता है। उन्होंने अभिभावकों से अपील की कि वे अपने बच्चों को निर्धारित समय पर विटामिन ‘ए’ की खुराक अवश्य दिलवाएं उन्होंने आगे बताया कि इस महाअभियान के सफल संचालन में आशा कार्यकत्री, आंगनबाड़ी कार्यकत्री एवं एएनएम की भूमिका अत्यंत महत्वपूर्ण है। आशा एवं आंगनबाड़ी कार्यकत्रियाँ अपने-अपने कार्यक्षेत्र में पात्र बच्चों की पहचान करेंगी, सत्र दिवस की पूर्व सूचना अभिभावकों को देंगी तथा बच्चों को आरआई सत्र स्थल तक लाने में सहयोग करेंगी।
वहीं एएनएम द्वारा सत्र स्थलों पर बच्चों को सुरक्षित रूप से विटामिन ‘ए’ की खुराक पिलाने के साथ-साथ प्रत्येक लाभार्थी का विवरण U-WIN पोर्टल पर ऑनलाइन दर्ज (अपलोड) किया जाएगा। इसमें बच्चे का नाम, आयु, के साथ पूरा विवरण रहेगा, जिससे यह सुनिश्चित किया जा सके कि कोई भी पात्र बच्चा छूटने न पाए तथा कार्यक्रम की प्रभावी एवं पारदर्शी निगरानी हो सके।
मुख्य चिकित्साधिकारी ने कार्यक्रम से जुड़े समस्त अधिकारियों एवं कर्मचारियों को निर्देशित किया है कि विटामिन ‘ए’ सम्पूरण महाअभियान का शत-प्रतिशत सफल संचालन सुनिश्चित किया जाए। इस संबंध में किसी भी स्तर पर लापरवाही क्षम्य नहीं होगी।
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